गोरखपुर:इंसान अपनी योग्यता से नहीं योगदान से पहचाना जाता है:डॉ अज़ीज़ अहमद

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अशफ़ाक़ अहमद

गोरखपुर,27 दिसम्बर,इण्डो नेपाल पोस्ट

‘‘ इन्सान अपनी योग्यता से नहीं योगदान से पहचाना जाता है- डा0 अज़ीज़ अहमद ’’उक्त विचार रखते हुए नगर के प्रतिष्ठित चिकित्सक एवं साहित्य सेवी डा0 अज़ीज़ अहमद ने ‘वफ़ा फैन्स क्लब’ द्वारा आयोजित ‘अटल काव्य सम्मान-2020’ से सम्मानित अन्तर्राष्ट्रीय शायर एवं मंच संचालक डा0 कलीम क़ैसर के लिए व्यक्त किया। नगर के ‘प्रगति-इन’ होटल में आयोजित ‘‘अटल काव्य सम्मान-2020’’ राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित वरिष्ठ शायर एवं कवि ‘‘वफ़ा गोरखपुरी’’ द्वारा प्रदान किया गया। वफ़ा गोरखपुरी ने कहा कि डॉ0 कलीम क़ैसर मेरे मार्गदर्शक हैं, कविता के क्षेत्र में मैंने उनसे बहुत कुछ सीखा है, मेरी दिली इच्छा थी कि मैं उन्हें सम्मानित करूँ। वफ़ा ने सम्मान स्वरूप अंगवस्त्रम्, सम्मान-पत्र और एक नज़्म प्रस्तुत किया।

नगर के साहित्यकारों, समाजसेवियों ने इस सम्मान समारोह में डॉ0 कलीम क़ैसर के प्रति अपने लगाव एवं उनकी कृतियों के लिए मिलने वाले इस सम्मान की भूरि भूरि प्रशंसा की। सभी ने कहा कि डॉ0 कलीम क़ैसर इन नगर में साहित्यिक अनुष्ठानों एवं नवयुवकों के प्रेरणा स्रोत हैं। नये लिखने वालों का सच्चा मार्गदर्शन और उन्हें मंच प्रदान करना उनका जुनून है। उनके कई एक शिष्य राष्ट्रीय एवं अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर अपनी पहचान बना चुके हैं। इस सम्मान समारोह में डॉ0 कलीम क़ैसर ने अपने उद्बोधन में कहा कि मुझे साहित्यिक क्षेत्र में ऐसे-ऐसे गुणीजनों का आशीष प्राप्त है जो कविता एवं साहित्य के क्षेत्र में आज उदाहरण हैं। पण्डित सोहन लाल द्विवेदी, सरदार जाफ़री, पद्मश्री बेकल उत्साही, प्रो0 अन्जुम इरफ़ानी जैसे लोगों ने मेरी रहनमाई की, यह सम्मान मेरा नहीं अस्ल में उन्हीं लोगों का सम्मान है। उन्होंने कहा कि जब वफ़ा साहब किसी तरह मुझे इस स्म्मान के लिए राज़ी कर ले गये तो, मैंने उनसे कहा कि मैं तन्हा ये सम्मान नहीं कराऊँगा बल्कि शहर के वरिष्ठ हिन्दी/उर्दू के साहित्यकारों का भी मेरे साथ सम्मान होना चाहिए। पूर्व मेयर श्रीमती डा0 सत्या पाण्डेय, डॉ0 कलीम क़ैसर, प्रो0 हर्ष कुमार सिन्हा, शैवाल शंकर श्रीवास्तव, मु0 आमिल ख़ाँ, क़ाजी कलीमुलहक़, धु्रव कुमार श्रीवास्तव, के हाथों कवि एवं साहित्यकारों को ‘‘अटल काव्य प्रतीक सम्मान-2020’’ देकर सम्मानित किया गया।

अन्त में अखिल भारतीय कवि सम्मेलन एवं मुशायरा भी हुआ जिसमें डॉ0 अखिलेश मिश्र, महेश अश्क़,आसिम रऊफ़, डॉ0 लोकेश शुक्ल, सुनील कुमार तंग, डॉ0 नीलिमा मिश्रा, डा0 विनम्र सेन सिंह, श्रीमती नुसरत अतीक़, श्रीमती अर्चना मालविया, रामायण धर द्विवेदी, शाद देवरियावी, अर्शी बस्तवी, इम्तियाज़ समर, फ़र्रूख़ जमाल, महमूद ख़ाँ, डॉ0 मुस्तफ़ा ख़ान, विनम्र पाण्डेय और कार्यक्रम के अध्यक्ष टी0एन0 श्रीवास्तव ‘वफ़ा गोरखपुरी’ ने अपनी रचनायें प्रस्तुत कीं। वफ़ा गोरखपुरी ने डॉ0 कलीम क़ैसर को समर्पित एक नज़्म सुनायी जो बहुत पसन्द की गयी। सम्मान पाने वालों में प्रमुख रूप से कवियों और शायरों के अलाव ध्रुव कुमार श्रीवास्तव, शमशाद राईन, सरदार यशपाल सिंह, अरशद सामानी, प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, डॉ0 अशफ़ाक अहमद उमर प्रमुख हैं। इनकी सामाजिक सेवाओं को देखते हुए इन्हें ‘‘अटल काव्य प्रतीक सम्मन-2020’’ से सम्मानित किया गया। अन्त में ‘‘वफ़ा फ़ैन्स क्लब’’ के श्री अमरनाथ जायसवाल, मो0 यूसुफ़ ख़ान ने सभी का आभार व्यक्त किया। मंच का संचालन फ़र्रूख़ जमाल (आकाशवाणी, गोरखपुर) ने किया।

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